Chandauli news:भारत के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के जन्मदिवस पर शुक्रवार को फ्लोरेंस स्कूल में बाल मेला लगा।

दुल्हिपुर/चंदौली

फ्लोरेंस स्कूल में लगा बाल मेला, बच्चों ने स्टाल पर लिया खानपान का आनंद
भारत के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के जन्मदिवस पर शुक्रवार को फ्लोरेंस स्कूल में बाल मेला लगा। मेला में बच्चों ने विभिन्न प्रकार के व्यंजनों का स्टाल लगाया और खानपान का आनंद लिया। कार्यक्रम के आरंभ में विद्यालय के प्रबंध निदेशक अशोक कुमार विश्वकर्मा ने जवाहरलाल नेहरू के चित्र पर माल्यार्पण कर उन्हें नमन करते हुए विद्यालय परिवार की ओर से श्रद्धांजलि अर्पित की। प्रबंध निदेशक ने अपने संबोधन में कहा जवाहरलाल नेहरू ने आजादी के बाद देश की कमान सम्भाली तथा लंबे समय तक वह सर्वोच्च पद पर बने रहे। नेहरूजी का स्वभाव बेहद मिलनसार था। इस कारण बच्चे उन्हें चाचा नेहरू के रूप में सम्मान देते हैं। वर्ष 1925 में ही उनके जन्म दिन 14 नवम्बर को बाल दिवस के रूप में मनाया गया। आज दुनिया के लगभग सभी देशों में बाल दिवस मनाया जाता हैं. वर्ष 1954 में संयुक्त राष्ट्र संघ द्वारा इसे हर वर्ष मनाने का निश्चय किया गया ,जिससे14 नवंबर का दिन बालकों को समर्पित है।उन्होंने कहा जवाहरलाल नेहरू का जन्म दिवस देश के बाल प्रतिभाओं के सम्मान का दिन है। क्योंकि बच्चे ही देश का भविष्य है।इस तरह के बाल मेलों के आयोजन से बच्चे अपने भावनाओं तथा सपनों को अपने साथियों के साथ साझा करते हैं। उन्होंने कहा कि पंडित नेहरू का मानना था कि बच्चे ही वह मिट्टी है जिससे भविष्य की इमारत बनती है। उनकी सोच थी कि बच्चों को केवल पढ़ाई ही नहीं बल्कि स्वतंत्र रूप से सोचने और सपने देखने की आजादी भी मिलनी चाहिए। कार्यक्रम में प्रमुख रूप से राकेश कुमार सिंह, प्रीति कुमारी, सुरेश कुमार, रुखसार सहित बड़ी संख्या में बच्चे और अभिभावक उपस्थित थे।